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Qaafirana | Kedarnath | Sushant Rajput | Sara Ali Khan | Arijit Singh & Nikhita | Amit Trivedi - Arijit Singh & Nikhita Gandhi Lyrics



Singer Arijit Singh & Nikhita Gandhi
Music Amit Trivedi
Song Writer Amitabh Bhattacharya








इन वादियों में टकरा चुके हैं
हमसे मुसाफ़िर यूँ तो कई
दिल ना लगाया हमने किसी से
किस्से सुने हैं यूँ तो कई

ऐसे तुम मिले हो
ऐसे तुम मिले हो
जैसे मिल रही हो इत्र से हवा

क़ाफ़िराना सा है
इश्क है या क्या है
ऐसे तुम मिले हो
ऐसे तुम मिले हो
जैसे मिल रही हो इत्र से हवा
क़ाफ़िराना सा है
इश्क है या क्या है

(संगीत)



ख़ामोशियों में, बोली तुम्हारी
कुछ इस तरह गूंजती है
कानों से मेरे, होते हुए वो
दिल का पता ढूँढती है
बेसुवादियों में, बेसुवादियों में
जैसे मिल रहा हो कोई ज़ायक़ा

क़ाफ़िराना सा है
इश्क है या क्या है
ऐसे तुम मिले हो
ऐसे तुम मिले हो
जैसे मिल रही हो इत्र से हवा
क़ाफ़िराना सा है
इश्क है या क्या है

(संगीत)

ज़रिये तुम्हारे, दर पे खुदा के
मत्था भी हम टेकते हैं
सबकी निगाहें उसपे टिकी हैं
पर हम तुम्हें देखते हैं



तुम सिखा रहे हो
तुम सिखा रहे हो
जिस्म को हमारे रूहदारियाँ

क़ाफ़िराना सा है
इश्क है या क्या है
ऐसे तुम मिले हो
ऐसे तुम मिले हो
जैसे मिल रही हो इत्र से हवा
क़ाफ़िराना सा है
इश्क है या क्या है

(संगीत)

गोदी में पहाड़ियों की
उजली दोपहरी गुज़ारना
हाय हाय तेरे साथ में अच्छा लगे
गोदी में पहाड़ियों की
उजली दोपहरी गुज़ारना
हाय हाय तेरे साथ में अच्छा लगे

शर्मीली अँखियों से
तेरा मेरी नज़रें उतारना
हाय हाय हर बात पे अच्छा लगे

ढलती हुई शाम ने
बताया है कि दूर मंज़िल पे रात है
मुझको तसल्ली है ये
के होने तलक रात हम दोनों साथ है

संग चल रहे हैं
संग चल रहे हैं
धूप के किनारे छाँव की तरह

क़ाफ़िराना सा है
इश्क है या क्या है







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